ये हैं वो पूर्व दिग्गज जिनकी वजह से महेंद्र सिंह धौनी को मिली थी टीम इंडिया में जगह
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ये हैं वो पूर्व दिग्गज जिनकी वजह से महेंद्र सिंह धौनी को मिली थी टीम इंडिया में जगह

ये हैं वो पूर्व दिग्गज जिनकी वजह से महेंद्र सिंह धौनी को मिली थी टीम इंडिया में जगह

ये हैं वो पूर्व दिग्गज जिनकी वजह से महेंद्र सिंह धौनी को मिली थी टीम इंडिया में जगह

नई दिल्ली। भारतीय क्रिकेट टीम के कप्तान से लेकर दुनिया के नंबर महानतम नायक बनने का सफर महेंद्र सिंह धौनी ने मुश्किल से पूरा किया। टीम इंडिया में जगह बनाने के बाद की कहानी तो सबको पता है लेकिन इससे पहले की दास्तां को बहुत कम लोग जानते हैं। फिल्मी पर्दे पर जो दिखाया गया इसके हकीकत में देखने वाले पूर्व भारतीय चयनकर्ता जिन्होंने कभी दुनिया के इस हीरा देने की कामयाबी का श्रेय नहीं लिया आज धौनी के जन्मदिन पर हम उनके बारे में बताएंगे। बताएंगे धौनी के कैप्टन कूल धौनी बनने तक का किस्सा।

भारत को टी20, वनडे विश्व कप और चैंपियंस ट्रॉफी विजेता बनाने वाले धौनी पर किस चयनकर्ता की नजर सबसे पहले पड़ी थी, इसे सभी जानना चाहते हैं। आज इस चैंपियन कप्तान का 41वां जन्मदिन है। धौनी को पहली बार जिस चयनकर्ता ने चुना था उन्होंने कभी इस बात का श्रेय नहीं लिया है।

दुनिया को धौनी जैसे धुरंधर कप्तान और विकेटकीपर बल्लेबाज से मिलवाने का श्रेय पूर्व भारतीय विकेटकीपर सैयद किरमानी को जाता है। भारत की 1983 विश्व कप विजेता टीम के विकेटकीपर किरमानी ने दैनिक जागरण से खास बात करते हुए बताया था कि आज तक कभी उन्होंने इसपर ज्यादा बात नहीं कि लेकिन धौनी का पहली बार वो ही चुनकर लाए थे। ईस्ट जोन के चयनकर्ता की जिम्मेदारी निभाने वाले उन्होंने धौनी के बारे में सुना और फिर उनका खेल देखने पहुंचे थे।

धौनी का चयन किसने किया कोई जानता भी नहीं

पूर्व ईस्ट जोन चयनकर्ता किरमानी ने बताया था, यह कितनों को पता है कि वो मैं था जिसने धौनी को ईस्ट जोन के लिए सलेक्ट किया था। किसी को पता नहीं है, मैंने आज तक ये जाहिर भी नहीं किया। यह सिर्फ उस वक्त जो कोलकाता से जो मेरे साथ करने वाले प्रणव रॉय थे उनको पता है।

दीप दास गुप्ता की जगह चुने गए थे धौनी

आगे उन्होंने बताया, प्रणव ने मुझे बताया किरी भाई दीपदास गुप्ता जो ईस्ट जोन के विकेटकीपर हैं वो अच्छा प्रदर्शन नहीं कर रहे हैं। यह मैच हम झारखंड में देख रहे थे। राज्य स्तर का मुकाबला देख रहे थे जहां मुझे प्रणव ने बताया सर एक अच्छा विकेटकीपर बल्लेबाज है जो दीपदास गुप्ता की ईस्ट जोन में जगह ले सकता है। एमएस धौनी उसका नाम है।

कप्तान ने नहीं दी थी विकेटकीपिंग

पूर्व चयनकर्ता ने धौनी के चयन पर बताया, मैंने पूछा वो विकेटकीपिंग कर रहे हैं क्या तो प्रणव ने बताया नहीं वो फाइन लेग में फील्डिंग कर रहे हैं। मैंने कहा उनका एक दो साल का जरा रिकॉर्ड बताओ, उन्होंने राज्य स्तर पर क्या किया है। धौनी उस साल पूरे ईस्ट जोन में सबसे ज्यादा औसत से रन बनाने वाले बल्लेबाज रहे थे।

मैंने बोला यार तुम क्या कर रहे हो ऐसे खिलाड़ी को, क्यों पीछे रखे हो। मैंने उनके बैटिंग की क्षमता पर ईस्ट जोन में लेकर आया था। इसके बाद प्रणव उनको ईस्ट जोन में लेकर आए जबकि मैने उनकी विकेटकीपिंग और बल्लेबाजी भी नहीं देखी थी। ये बात मैंने आजतक किसी पेपर, किसी मीडिया से नहीं बोला।

धौनी को राज्य स्तर से जोन स्तर पर पहुंचाया

विश्व विजेता टीम के विकेटकीपर ने बताया, मैं धौनी को राज्य स्तर से जोन स्तर पर लेकर आया। वहां से उनके खुद के प्रदर्शन ने आगे का रास्ता बनाया। इसके बाद धौनी को किसी भी सलेक्टर की जरूरत नहीं रह गई थी सलेक्शन के लिए।

राज्य स्तर के चयनकर्ताओं ने नहीं दिया ध्यान

यहां पर उस खिलाड़ी को समर्थन देना बहुत जरूरी है जो बहुत ही बेहतरीन हो। राज्य स्तर के चयनकर्ताओं ने धौनी के प्रदर्शन को नजर अंदाज किया।