18 वर्षों से बंद पड़ी मोर्चरी अब कप्तान के प्रयासों से होगी शुरू
18 वर्षों से बंद पड़ी मोर्चरी अब कप्तान के प्रयासों से होगी शुरू
दशकों पुरानी समस्या से मिलेगी मुक्ति, नहीं जाना पड़ेगा सिरसा
ऐलनाबाद अस्पताल में ही हो सकेंगे पोस्टमार्टम, लाखों का सामान किया गिफ्ट
चंडीगढ़, 16 सितंबर। करीब 18 वर्षों से बंद पड़ी ऐलनाबाद के अस्पताल की मोर्चरी अब शुरू हो सकेगी। ऐलनाबाद में ही पोस्टमार्टम होंगे। लोगों को सिरसा के चक्कर नहीं काटने पड़ेंगे। भाजपा-जजपा गठबंधन के सूत्रधार मीनू बैनीवाल ‘कप्तान’ के प्रयासों से यह संभव हो पाया है। उन्होंने मोर्चरी में न केवल मरम्मत का काम करवाया बल्कि पोस्टमार्टम से जुड़ा लाखों रुपये का सामान भी अपनी ओर से गिफ्ट किया है।
ऐलनाबाद हलके के अधिकांश अस्पतालों, सामुदायिक एवं प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों की शक्ल बदल चुके बैनीवाल ने मोर्चरी को लेकर काफी गंभीर थे। हलके के लोगों की बरसों पुरानी इस मांग को सरकारों ने भी पूरा नहीं किया। इस दौरान ओमप्रकाश चौटाला के नेतृत्व वाली इनेलो सरकार भी रही और हुड्डा सरकार के भी 10 वर्षों का कार्यकाल रहा। 25 वर्ष पहले जब ऐलनाबाद को उपमंडल का दर्जा दिया गया तो यहां 20 बेड का अस्पताल शुरू किया गया। अब यह बढ़कर 50 बेड का हो चुका है, लेकिन पोस्टमार्टम की सुविधा कभी नहीं रही।
हलके के लोगों ने स्थानीय विधायकों के सामने भी यह मुद्दा कई बार उठाया, लेकिन किसी ने सुनवाई नहीं की। समाजसेवी के रूप में लोगों के दिलों में पहचान बना रहे मीनू बैनीवाल के सामने जब यह मुद्दा आया तो उन्होंने अस्पतालों के कायाकल्प की अपनी मुहिम में मोर्चरी को भी शामिल किया। सभी अस्पतालों व स्वास्थ्य केंद्रों में वे आधुनिक सुविधाएं मुहैया करवा चुके हैं। इनमें बेड व फर्नीचर से लेकर आधुनिक लैब और उपकरण भी शामिल हैं।
अस्पताल की बिल्डिंग के साथ ही मोर्चरी भी बनी हुई थी, लेकिन इसे कभी शुरू नहीं किया गया। अब इसका रिपेयरिंग का काम पूरा हो चुका है। टीम मीनू बैनीवाल ने शुक्रवार को कंप्यूटर, प्रिंटर, डीएफ फॉर बॉडी टू वेटिंग बेंच, आफिस टेबल-चेयर, अलमीरा, एसी सहित सभी प्रकार का सामान डॉक्टरों को मुहैया करवाया। मोर्जरी में सामान पहुंचने के बाद स्थानीय लोगों के चेहरों पर खुशी है। अब मोर्चरी शुरू होने का रास्ता भी साफ हो गया है।