भारत रत्न पूर्व पीएम वाजपेयीजी के स्मारक में शामिल हुआ "पिरगल परिवार" भी

भारत रत्न पूर्व पीएम वाजपेयीजी के स्मारक में शामिल हुआ "पिरगल परिवार" भी

Memorial of Bharat Ratna former PM Vajpayee ji

Memorial of Bharat Ratna former PM Vajpayee ji

यादगार फोटो व पत्र संग्रहित कर किया सम्मान

बेंगलूरु। Memorial of Bharat Ratna former PM Vajpayee ji: देश की राजधानी नई दिल्ली में भारत सरकार द्वारा भारत रत्न पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी का स्मारक बनाया जा रहा है, जिसमें उनकी यादगार वस्तुओं का अखिल भारतीय स्तर पर संग्रहण कर प्रदर्शन किया जाएगा। इसी क्रम में कर्नाटक के बेंगलूरु में मशहूर पिरगल परिवार के साथ साथ समस्त मारवाड़ी, प्रवासी एवं जैन समाज के लिए गौरवान्वित भरा पल है कि स्वर्गीय वाजपेयीजी से इस परिवार का गहरा नाता था। उल्लेखनीय है कि इस परिवार के संरक्षक रहे स्वर्गीय केवलचंदजी का एक यादगार फोटो वाजपेयीजी के साथ है, साथ ही साथ उनके अनुज स्वर्गीय जीवराजजी के स्वर्गवास के बाद पूर्व पीएम द्वारा भेजा गया संवेदना पत्र भी इस परिवार को प्राप्त हुआ था। इन दोनों अमूल्य वस्तुओं को अटलजी के शताब्दी वर्ष के स्मारक में लगाने हेतु संग्रहित किया गया। जी हां, सोमवार को यहां पिरगल परिवार के व्यावसायिक प्रतिष्ठान कार्यालय में बेंगलूरु के चिकपेट विधानसभा क्षेत्र से भाजपा विधायक उदय गरुड़ाचार, वाजपेयी शताब्दी समिति बेंगलूरु के इंचार्ज सदाशिव, समिति के बेंगलूरु साउथ के इंचार्ज वेदव्यास भट्ट, बीजेपी चिकपेट मंडल अध्यक्ष धर्मराज आदि का आगमन हुआ, जिन्होंने उक्त फोटो व पत्र की प्रति स्मारक में लगाने हेतु संग्रहित की। साथ ही इस दौरान पिरगल परिवार से प्रकाश पिरगल का माल्यार्पण एवं शल्यार्पण कर सम्मान भी किया। इस मौके पर पिरगल परिवार की ओर से अशोक पिरगल, दिनेश पिरगल, राजेश पिरगल आदि ने सभी आगंतुक गणमान्य अतिथियों का स्वागत करते हुए आभार व्यक्त किया। जाने-माने सामाजिक एवं धार्मिक व्यक्तित्व केंद्र सरकार में व्यापारिक कल्याण बोर्ड के कर्नाटक राज्य से एक मात्र सदस्य प्रकाश पिरगल ने बताया कि निश्चित ही यह हम सभी के लिए गर्व की बात है कि हमारे पूर्वजों के कुशल, मृदु व्यवहार एवं मिलनसारिता आज हमें सम्मान और प्रतिष्ठा दिला रही है। निश्चित ही यह अविस्मरणीय सम्मान भरा पल आने वाली पीढ़ी के लिए भी एक बेहद सुखद सकारात्मक संदेश है कि व्यक्ति भले ही इस जगत में रहे ना रहे उसका अमिट व्यक्तित्व, कृतित्व यादों के साथ-साथ इस प्रकार से भी अमूल्य धरोहर के रूप में परिलक्षित होकर गौरवान्वित कर देता है।