Dead Man Again Alive| नागपुर में चमत्कार! डॉक्टर्स भी हैरान; हार्ट अटैक आने से शख्स की मौत, मगर एक घंटे बाद जिंदा हो गया वो

चमत्कार! डॉक्टर्स भी हैरान; हार्ट अटैक आने से शख्स की मौत, मगर एक घंटे बाद जिंदा हो गया वो... धड़कन लौटी, सांसें चलने लगीं

Maharashtra Nagpur Man Gets Deadly Heart Attack and Revive

Maharashtra Nagpur Man Gets Deadly Heart Attack and Revive

Dead Man Again Alive: ऐसे कई मामले अक्सर सुने जाते हैं, जिनमें किसी मृत शख्स के दोबारा जिंदा हो जाने की बात होती है और ऐसा होना चमत्कार माना जाता है। अब महाराष्ट्र के नागपुर से ऐसा ही एक मामला सामने आया है। यहां एक शख्स करीब एक घंटे तक मृत रहा और इसके बाद वह जिंदा हो गया। शख्स के इस तरह जिंदा हो जाने से डॉक्टर भी हैरान हैं और वह भी इसे चमत्कार ही मान रहे हैं। शख्स का जिंदा बचना सबको ही हैरान कर रहा है। हालांकि, शख्स के घर वाले इसी हैरानी के साथ बेहद खुश भी हैं।

हार्ट अटैक आया और सांसें थम गईं...

बताया जाता है कि, इस शख्स की उम्र 38 साल है और इसे हार्ट अटैक आया था। जिसके बाद इसके दिल की धड़कन पूरी तरह से रुक गई और सांसें थम गईं। वहीं अनान-फानन में जब शख्स को अस्पताल ले जाया गया तो यहां डॉक्टरों ने भी शख्स को मृत मान लिया। लेकिन बाद में डॉक्टरों ने एक आखिरी कोशिश करनी चाही। शख्स को जब 40 मिनट तक दिये गए सीपीआर से कोई फायदा नहीं हुआ तो फिर डॉक्टरों ने एक आखिरी कोशिश के तहत सीपीआर की समय सीमा बढ़ाने का विचार किया। बताते हैं कि, कार्डियोपल्मोनरी रिससिटेशन (सीपीआर) को 40 मिनट के बाद रोक दिया जाता है यदि दिल की धड़कन की वापसी नहीं होती है।

लेकिन शख्स पर एक आखिरी और प्रयोगत्मक कोशिश के लिए डॉक्टर उसे डिफिब्रिलेशन शॉक के साथ 40 मिनट के बाद भी तब तक सीपीआर देते रहे जब तक उसके दिल की धड़कन बहाल नहीं हो गई। यानि डॉक्टर की कोशिश रंग लाई और शख्स की धड़कन चलने लगी। जिससे डॉक्टर भी हैरान रह गए। बताया जाता है कि, धड़कन वापस लौटने के बाद शख्स का आईसीयू में 50 दिनों तक इलाज चला है। शख्स को 25 अगस्त को हार्ट अटैक आया था। उसे पुनर्जीवित करके अब छुट्टी दी गई है।  

सीपीआर का कोई दुष्प्रभाव नहीं हुआ

डॉक्टर बताते हैं कि, लंबे समय तक सीपीआर के कारण पसलियां टूट जाती हैं और बार-बार झटके त्वचा को जलाने का कारण बनते हैं। लेकिन इस शख्स के मामले में अच्छे सीपीआर के कारण इसको इन दोनों में से कोई भी दुष्प्रभाव नहीं हुआ।

क्या होता है सीपीआर, कैसे दिया जाता है?

सीपीआर का फुल फॉर्म 'कार्डियोपल्मोनरी रिससिटेशन Cardiopulmonary Resuscitation (CPR)' है। यह इमरजेंसी मेडिकल टेक्निक है। यह टेक्निक किसी व्यक्ति की सांस या दिल की धड़कन रुक जाने पर मददगार साबित हो सकती है। दरअसल जब हार्ट अटैक आता है तो इस दौरान मस्तिष्क सहित शरीर के बाकी हिस्सों में ऑक्सीजन रुक जाती है, साथ ही खून का सर्कुलेशन बंद हो जाता है। तुरंत उपचार न मिलने पर शख्स की मौत भी हो सकती है।

जहां ऐसे में सीपीआर टेक्निक एक प्राथमिक चिकित्सा का काम करती है। सीपीआर के जरिए अपने दोनों हाथों से उक्त व्यक्ति के सीने को प्रेस करते हुए दबाव बनाया जाता है। जिससे ऑक्सीजन और ब्लड फ्लो हो सके। एक रिपोर्ट के अनुसार, हार्ट अटैक आने के कुछ मिनटों में अगर किसी व्यक्ति को सीपीआर दिया जाता है तो उसके बचने की संभावना में बढ़ जाती है।

बता दें कि, इन दिनों हार्ट अटैक के मामले बड़ी तेजी से बढ़ रहे हैं। पिछले कुछ दिनों में देश के विभिन्न हिस्सों से हार्ट अटैक के मामलों की जो तस्वीरें सामने आई हैं। वह डराने वाली हैं। लोगों की हंसते-खेलते, चलते-फिरते, नाचते, अखबार पढ़ते, दवाई लेते और जिम में एक्सरसाइज करते हुए सेकेंडों में मौत हो गई है। हैरानी की बात यह है कि, इन मामलों में नौजवान भी शामिल हैं।

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