एक प्रेरक महिला खिलाड़ी मधु मान

एक प्रेरक महिला खिलाड़ी मधु मान

Madhu Maan

Madhu Maan, an Inspiring Sportswoman

Madhu Maan, an Inspiring Sportswoman: कहते हैं व्यक्ति में किसी काम को करने का जुनून और जज्बा हो तो अपनी प्रतिभा को निखारने में ना उम्र और ना पारिवारिक कठिनाइयां कभी आड़े आती । यह बात पुरुषों के साथ-साथ देश की महिलाओं ने भी साबित करके दिखाई है और अपने परिवार, प्रदेश और देश का नाम रौशन किया है। महिलाओं में एक ऐसा ही नाम है, मधु‌ मान ,जिन्होंने ऑल इंडिया सिविल सर्विसेज लॉन टेनिस टूर्नामेंट में कई राष्ट्रीय स्तर के अवार्ड जीतकर मातृशक्ति को गौरवान्वित  किया है और अपने प्रदेश का भी नाम रौशन किया है। मैं अंतरार्ष्ट्रीय महिला दिवस के अवसर पर मधु मान के साथ-साथ सभी महिलाओं को हार्दिक बधाई व शुभकामनाएं देता हूं। मधु मान अपने 18 वर्षीय बेटे के खो जाने के बाद पूरी तरह टूट चुकी थी। इसके बाद उन्होंने स्वयं को हौसला दिया और संभाला तथा बेटे के सपनों को पूरा करने के लिए लॉन टेनिस कोर्ट में उतरी और फिर क्या था, उन्होंने पीछे मुड़कर नहीं देखा। उन्होंने 2018 में पुणे में आयोजित ऑल इंडिया सिविल सर्विसेज लॉन टेनिस टूर्नामेंट में तीन गोल्ड और एक सिल्वर मेडल जीतकर चंडीगढ़ का नाम रौशन किया, क्योंकि वह चंडीगढ़ की तरफ से ही खेल रही थी। वैसे मधु मान रोहतक जिले से हैं। 2021- 23 तक कोविड की वजह से कोई राष्ट्रीय प्रतियोगिता नहीं हो पाई।‌‌ हां..2021 में चंडीगढ़ के लेक क्लब में लॉन टेनिस प्रतियोगिता जरुर हुई थी, जिसमें उन्होंने दो सिल्वर मेडल झटके। वर्ष 2023 में उदयपुर में ऑल इंडिया सिविल सर्विस लान टेनिस टूर्नामेंट आयोजित की गई जिसमें उन्होंने चंडीगढ़ की तरफ से भाग लिया और अपनी टीम को सिल्वर मेडल दिलवाया .इसी प्रकार से पिछले साल यानी 2024 की बात करें तो जयपुर में आयोजित इसी स्तर की प्रतियोगिता में उन्होंने दो गोल्ड मेडल अपने नाम किए । गौरतलब है‌ कि ऑल इंडिया सिविल सर्विसेज लॉन टेनिस टूर्नामेंट में इस उम्र में अवार्ड जीतने वाली मधु मान देश की पहली महिला अधिकारी हैं।

मधुमान चंडीगढ़ के सेक्टर 10 स्थित पालीटेकनिक कोलेज में अप्लाईड सांईस की एचओडी  है।  चंडीगढ़ में 11 वर्षों की सेवा देने के बाद मधु मान अब परियाणा लौंटेगी जहां वे  संयुक्त निदेशक के पद पर कार्यभार संभालेगी । वर्तमान में मधु मान अपनी उम्र के पांचवें दशक के पास है यानी अब उनकी उम्र 48 वर्ष हो चुकी है, लेकिन खेल के प्रति उनका अभी भी जुनून बरकरार है और मैदान पर हर रोज़ प्रैक्टिस कर रही हैं। 

उनके 18 वर्षीय इकलौते बेटे आर्यन का ब्रेन ट्यूमर की वजह से निधन होने के बाद मधुमान और उनके पति ने मिलकर आर्यन फाउंडेशन बनाया है। पति-पत्नी अपने वेतन का 20 से 25% हिस्सा फाउंडेशन में दे रहे हैं और इससे गरीब जरूरतमंद विद्यार्थियों व खिलाड़ियों की मदद की जाती है। मधु ने जींद की खिलाड़ी रिया कौशिक को अडॉप्ट किया हुआ है। रिया कौशिक की डाइट  के लिए मधुमान  हर महीने ₹5000 की मदद कर रही हैं। रिया कौशिक खेलो इंडिया में भी भाग ले चुकी हैं. इसके साथ-साथ पंजाब के नग्गल गांव के विवेक की पूरी एजुकेशन का जिम्मा भी मधुमान ने लिया हुआ है। विवेक की शिक्षा और खेल पर मधु 6 से 7000 रुपए की सहायता कर रही हैं, इतना ही नहीं अपनी सरकारी नौकरी में मिलने वाला इंक्रीमेंट और अवार्ड का पैसा भी वह खिलाड़ियों के जूते, खेल उपकरण ,वर्दी और विद्यार्थियों की किताबों तथा यूनिफॉर्म आदि पर खर्च कर रही है। मधु का कहना है कि यह सपना उनके बेटे आर्यन का था कि गरीब वर्ग के बच्चों को शिक्षा और खेल में आगे बढ़ाना है। अब उनके बेटे के इस सपने को वह पूरे जुनून और जोश के साथ पूरा करने में लगी हुई है. इसमें उनके पति प्रोफेसर अमनेदर मान भी उनका कंधे से कंधा मिलाकर साथ दे रहे हैं। उनके पति प्रोफेसर मान उर्फ नीटू चंडीगढ़ के ही सेक्टर 10 स्थित डीएवी कॉलेज में प्रोफेसर हैं। शूटिंग के खिलाड़ियों को तैयार करने के लिए अलग पहचान रखने वाले नीटू भी पोलो के राष्ट्रीय खिलाड़ी रहे हैं ।वहीं मधुमान के ससुर प्रोफेसर नसीब सिंह मान टेनिस के अच्छे प्लेयर रहे हैं। वे फुटबॉल के भी अच्छे खिलाड़ी रहे हैं. ससुर और बेटे आर्यन ने ही मधुमान को नौकरी के साथ खेल को जारी रखने के लिए प्रेरित किया था। आज उनका बेटा आर्यन इस दुनिया में नहीं है लेकिन मधु का संकल्प है कि वह अपने बेटे के सपने को साकार करने के लिए जीवनपर्यंत खेल और शिक्षा के क्षेत्र में आगे बढ़ने वाले युवाओं का पूरी तरह सहयोग करती रहेगी।
सतीश मेहरा