लोकसभा चुनाव 2024: चंडीगढ़ में नहीं हो रही लोकल मुद्दों पर बात
- By Vinod --
- Thursday, 02 May, 2024
Lok Sabha Elections 2024: Local issues are not being discussed in Chandigarh
Lok Sabha Elections 2024: Local issues are not being discussed in Chandigarh- चंडीगढ़ (वीरेंद्र सिंह)। आगामी पहली जून को चंडीगढ़ में होने वाले लोकसभा चुनाव के मद्देनजर शहर के मुख्य दो राजनीतिक दलों के नेताओं द्वारा बार-बार कहा जा रहा है कि लोकसभा का चुनाव राष्ट्रीय मुद्दों पर लड़ा जाता है, स्थानीय लोकल मुद्दे कोई मायने नहीं रखते हैं।
भाजपा और कांग्रेस के संबंधित प्रत्याशी संजय टंडर और मनीष तिवारी के बीच अब तक सीधा मुकाबला दिखाई दे रहा है। हालांकि अकाली दल प्रत्याशी हरदीप सिंह बुटेरला भी मैदान में हैं। सभी नेताओं ने चुनाव प्रचार अभियान के दौरान यही बात बार-बार दोहराई जा रही है। यह लोग कहते हैं कि जो विकास कार्य राष्ट्रीय स्तर के होंगे, उनका क्रियान्वयन चंडीगढ़ में भी होगा।
किंतु शहर में छोटे-मोटे व्यवसाय से जुड़े कुछ लोगों की मानें तो स्थानीय मुद़्दों पर भी चर्चा होनी जरूरी है। उनका कहना है कि चंडीगढ़ तो वैसे ही केंद्र शासित क्षेत्र है। यहां पर तो एमएचए (केंद्रीय गृहमंत्रालय) द्वारा दिशा निर्देश मिलते हैं। फिलहाल शहर में संसदीय सीट पर मात्र सप्ताह का समय ही शेष है, किंतु राजनीतिक हलचल अभी उतनी रफ्तार नहीं पकड़ पायी है। यहां पर किसी भी दल की कोई बड़ी रैली नहीं हो सकी है। शायद मई के मध्य तक यह रफ्तार तेज होगी।
चंडीगढ़ की समस्याओं को लेकर अर्थ प्रकाश ने शहर के कुछ व्यवसायियों और दुकानदारों से जब इस तरह के मुद्दों पर चर्चा की गई पेश हैं उनके कुछ अंश:
लोकल मुद्दों का भी निराकरण जरूरी: खन्ना
टेडर्स वैलफेयर एसोसियेशन और मार्केट वैलफेयर एसोसियेशन सेक्टर 32-डी के प्रधान अश्वनी खन्ना का कहना है कि राष्ट्रीय मुद्दे अपनी जगह हैं। किंतु चंडीगढ़ के अपने लोकल मुद्दे भी हैं, जिनका निराकरण करना जरूरी है। अश्वनी खन्ना का कहना है कि व्यापारियों की समस्या पर शहर का अधिकारी सुनता ही नहीं है। उन्होंने बिल्डिंग बिक्री वायलेशन की बात करते हुए कहा कि बिजनेस की जो छोटी-छोटी दुकानें हैं उनमें न तो स्टोर हैं और न ही कोई अतिरिक्त जगह, जिसमें वह अपनी दुकान के छोटे-मोटे सामान रख सके। मजबूरी में दुकान के सामने बरामदे में यदि कुछ सामान रख भी लिया जाए तो नगर निगम की एनफोर्समेंट टीम एक्शन लेकर उनका सामान उठा लेेती है, फिर उन्हें जुर्माना देने के लिए बाध्य करती है।
शहर में पार्किंग बड़ी समस्या: सुनील बंसल
ट्रेडर्स वैलफेयर एसोसियेशन सेक्टर 32-डी चंडीगढ़ के फाइनेंस सेक्रेट्री सुनील बंसल का कहना है कि शहर के लोकल मुद्दे भी अहम हैं। उन पर भी विचार करना जरूरी है। उनका यह भी कहना है कि उनकी मार्केट में पार्किंग की बदहाली से दुकानदार और ग्राहक दोनों परेशान हैं। दुकानदारों को भी अपने घरों से भागमभाग करके आना पड़ता है, ताकि उसके वाहन पार्क करने के लिए जगह मिल सके। ग्राहकों को अपने वाहन मार्केट से दूर पाके करके आन पड़ता है। जिससे उन्हें काफी परेशानी होती है।
स्थानीय मुद्दे भी जरूरी: मोहम्मद खुशीद
नगर निगम के पूर्व मनोनीत पार्षद, भजापा के राष्ट्रीय कार्यकारिणी में अल्पसंख्यक प्रकोष्ठ के मुख्य सदस्य, हाजी मोहम्मद खुर्शीद ने बताया कि लोकसभा का चुनाव राष्ट्रीय स्तर का चुनाव होता है। उसमें राष्ट्रीय मुद्दों पर ही चुनाव लड़ा जाता है। लेकिन स्थानीय मुद्दों की भी अनदेखी नहीं की जा सकती। इसी प्रकार एक कमेटी का कहना है कि हाउसिंग बोर्ड के मकानों का दिल्ली की तर्ज पर नियमित कराने, लालडोरे के बाहर के क्षेत्रों में भी बिजली-पानी के कनेक्शन देने और बाद में उन्हें लाल डोरे से छुटकारा दिलाने की नितांत आवश्यकता है। मोहम्मद खुर्शीद सलमानी का कहना है कि शहर में रेहड़ी और फड़ी वालों को भी न्याय मिलना चाहिए। उनकी अपनी अलग ही समस्या है। उन्हें उनकी रेहडिय़ों के रजिस्टे्रशन और लाइसेंस देने की प्रक्रिया बिल्कुल सरल होनी चाहिए, ताकि उन्हें किसी परेशानी का सामना न करना पड़े।
बिजनेसमैन के लिए कुछ नहीं: राजिन्दर कुमार
एक दवाईयों की दुकान वाले राजिन्दर कुमार का मानना है कि शहर के बिजनेस मैनों के लिए जीरों सुविधा है। उनका कहना है कि दुकानों की हालत खराब है। इस प्रकार प्रापर्टी खास करके बिजनेस संबंधी प्रापर्टी फ्लोर वाइज बिक्री के लिए काम नहीं हो पा रहा है। नगर निगम के लोग अलग से परेशान करते हैं। छोटी-छोटी वायलेशन पर भी चालान किये जाते हैं, जिससे दुकानदारों को आर्थिक और मानसिक पीड़ा उठानी पड़ती है। चेयरमैन राजिन्दर कुमार ने बताया कि जीएसटी के नाम पर पैनल्टी के नोटिस दिए जाते हैं।
छोटे व्यापारी हताश: राजीव बतरा
राजीव बतरा का कहना है कि बिजनेस क्लास के हर वर्ग को बड़ी परेशानी का सामना करना पड़ रहा है। किंतु चंडीगढ़ के प्रमुख दलों के नेता अपनी किसी भी चुनावी प्रचार के दौरान स्थानीय मुद्दो पर कोई बात नहीं करते हैं। इससे छोटे व्यापारियों का मनोबल टूट रहा है। उनका कहना है कि बिजनेस रिलेटिड प्रापर्टी को लीज होल्ड से फ्री होल्ड कराने में नियमों संबंधी सरलता होनी चाहिए, ताकि हर बिजनेस मैन इसे आसानी से करा सके। इस प्रक्रिया में इतनी कठिनाई है कि इसे पूरा करने में प्रापर्टी के बराबर ही अतिरिक्त धनराशि देनी पड़ती है। उनका यह भी कहना है कि शहर में आजकल सफाई का काम भी व्यवस्थित रूप से नहीं हो पा रहा है। इसके चलते शहर के अच्छे पायदान पर जाने का मामला खटाई में पडऩे की उम्मीद है।