Leader of Opposition Jairam Thakur, while targeting the state government, said that there is no hearing of the complaints of the people of Himachal.
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नेता प्रतिपक्ष जयराम ठाकुर ने प्रदेश सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि हिमाचल के लोगों की शिकायतों की कोई सुनवाई नहीं

Leader of Opposition Jairam Thakur, while targeting the state government, said that there is no hearing of the complaints of the people of Himachal.

Leader of Opposition Jairam Thakur, while targeting the state government, said that there is no hear

शिमला:नेता प्रतिपक्ष जयराम ठाकुर ने प्रदेश सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि हिमाचल के लोगों की शिकायतों की कोई सुनवाई नहीं हैं। सरकार में बैठा कोई भी जवाबदेह मंत्री, अधिकारी लोगों की शिकायतें सुनने को तैयार नहीं हैं। मुख्यमंत्री शिकायतें सुन नहीं रहे हैं, उपमुख्यमंत्री के पास लोग जाते हैं तो वे मुख्यमंत्री के पास जाने की बात करते हैं। प्रदेश के मंत्रियों का भी वही हाल है। वह जिस जिले में जाते हैं वहां की बड़ी-बड़ी घटनाओं की जानकारी भी उनके पास नहीं होती है। सरकार में बैठे लोगों के उदासीन रवैये के कारण स्थानीय स्तर पर कार्यरत अधिकारी और कर्मचारी भी शिथिलता बरतते हैं। जिससे लोगों की छोटी-छोटी शिकायतों का भी समाधान नहीं हो पा रहा है। लोग परेशान हैं कि वह किससे अपनी शिकायतें कहें।

नेता प्रतिपक्ष नें कहा कि लोग मंत्रियों और मुख्यमंत्री की गाड़ी के सामने खड़े हो जांए और न्याय मांगें यह सही नहीं हैं। उन्होंने कहा कि सडकों पर सस्ती लोकप्रियता के लिए किए जाने वाले स्टंट को न्याय नहीं कहते हैं। क़ानून का तकाजा है कि सभी को न्याय मिले। इसलिए सरकार ऐसा तंत्र बनाए जिससे लोग मर्यादापूर्ण तरीके से गोपनीयता के साथ अपनी शिकायतें सत्ता तक पहुंचा सकें और न्याय पा सकें।

नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि हिमाचल की भौगोलिक परिस्थिति को देखते हुए हमने जनमंच की व्यवस्था बनाई थी, उसे सुक्खू सरकार ने बंद कर दिया। मुख्यमंत्री हेल्पलाइन 1100 की व्यवस्था बनाई थी, जिसे भगवान् भरोसे छोड़ दिया है। आज हिमाचल के लोगों की 11 हजार से ज्यादा शिकायतें ऐसी हैं, जिनकी सुध लेने वाला कोई नहीं है। नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि सरकार को जन शिकायतों को गंभीरता से लेते हुए एक निर्धारित समयावधि में उनका निपटारा करना होगा। हम प्रदेश के लोगों के साथ सरकार की इस तरह की मनमर्जी नहीं चलने देंगे।

जयराम ठाकुर ने कहा कि हिमाचल में लोगों के काम न रुके और उन्हें परेशान न होना पड़े उसके लिए हमने जनमंच और मुख्यमंत्री हेल्पलाइन की व्यवस्था की थी। जनमंच में तो हर मंडल मुख्यालय पर शासन-प्रशासन के लोग जुटते थे और मौके पर ही हजारों शिकायतों का निपटारा होता था। मुख्यमंत्री हेल्पलाइन 1100 से लोग घर बैठे अपनी शिकायतें दर्ज करवाते थे और निर्धारित समय में उनकी समस्या का समाधान हो जाता था। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री हेल्पलाइन में सभी शिकायतों का समाधान हो इसलिए मुख्यमंत्री होने के नाते मैं खुद भी मॉनिटरिंग करता था। हमारी सक्रियता का परिणाम था कि दोनों माध्यमों से हमने साढ़े चार लाख से ज्यादा जन शिकायतों का निपटारा किया और इस पूरी प्रक्रिया में किसी भी शिकायतकर्ता का एक भी पैसा नहीं खर्च हुआ था।

उन्होंने कहा हमारी सरकार के समय की योजनाएं बंद करने से अगर हिमाचल के लोगों का भला हो रहा है तो मुख्यमंत्री और उपमुख्यमंत्री सारी योजनाएं बंद कर दें, अगर उन योजनाओं के बंद होने से हिमाचल के लोगों को समस्या हो रही है तो उन्हें जनमंच और मुख्यमंत्री हेल्पलाइन जैसी योजनाओं को प्रभावी ढंग से चलाना चाहिए। हिमाचल के लोगों ने कांग्रेस को हिमाचल का भला करने के लिए सत्ता सौंपी है न कि बदले की राजनीति के लिए।

जन मंच बंद करके लोगों की शिकायतें सुनने के लिए कौन सी योजना लाई है सरकार

नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि सरकार ने जनमंच जैसी जनहितकारी योजना को बंद कर दिया लेकिन उसके बदले कौन सी योजना लाए, जिससे लोग सरकार के साथ जुड़े रह सकें और अपनी समस्याओं का समाधान करवा सके। जनमंच के बदले सरकार ने ऐसी कौन सी योजना शुरू की है जिससे सरकार के लोग सीधे लोगों तक पहुँच सके और अपनी बातें रख सकें। उन्होंने कहा कि हिमाचल की भौगोलिक परिस्थिति सबको पता हैं, कहीं भी आना-जाना कठिन है। ऐसे में न्याय का तकाज़ा यही है कि लोग आसानी से अपनी बात सरकार तक पहुंचा सके और सरकार लोगों की मदद कर सके। इसके लिए जरुरी हैं कि सरकार ऐसा तंत्र विकसित करे जिससे लोग आसानी से सरकार से जुड़ सकें और अपनी शिकायतें रख सकें।