"कर्नाटक के 694 से ज्यादा दिव्यांगों की रुकी जिंदगी हुई फिर से शुरु"

Stalled Life of more than 694 Disabled People
नारायण सेवा संस्थान दिव्यांगों के कल्याण के लिए प्रतिबद्ध : सांसद पीसी मोहन
बेंगलूरु। Stalled Life of more than 694 Disabled People: संसद की सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता समिति के अध्यक्ष एवं भाजपा सांसद पीसी.मोहन ने कहा कि केंद्र सरकार दिव्यांगों के सशक्तीकरण और इस समुदाय की हर तरह से सेवा करने के लिए तैयार है और नारायण सेवा संस्थान भी दिव्यांगों को समाज की मुख्यधारा में लाने के लिए जो प्रयास कर रही है। मैं दिव्यांगों और समाज उत्थान के लिए हर तरह से सहयोग करूँगा। यह बातें उन्होंने नारायण सेवा संस्थान द्वारा स्थानीय बसवनगुडी स्थित मराठा हॉस्टल परिसर में चल रहे शिविर में मुख्य अतिथि के रूप में कही। इस शिविर में 694 दिव्यांग लोग निःशुल्क कृत्रिम अंग एवं कैलीपर फिटिंग में भाग लेने आये थे। उन्होंने कहा कि वे दिव्यांगों से जुड़ी किसी भी समस्या का समाधान करेंगे।
नारायण सेवा संस्थान कर्नाटक में अच्छी सेवा प्रदान कर रही है। यह संगठन ईश्वर की तरह विकलांगों की मदद कर रहा है। उन्होंने कहा, "मैं भी आपके सभी रचनात्मक कार्यों में भाग लूंगा।"
शिविर की शुरूआत दीप प्रज्ज्वलन से हुई। इस मौके पर मुख्य अतिथि पीसी मोहन एवं विशेष आमन्त्रित समाजसेवी महेंद्र मुनोत, रेलवे बोर्ड के सलाहकार सदस्य अश्विन सेमलानी, कुँवर राकेश देसरला, मूलसिंह राजपुरोहित, रमेश माली, सुनील वैष्णव, राकेश वैष्णव, दिलीप जैन, संस्थान अध्यक्ष प्रशांत अग्रवाल, निदेशक वंदना अग्रवाल, स्थानीय अध्यक्ष विनोद जैन व पलक अग्रवाल मौजूद थे। समाज सेवी महेंद्र मुनोत ने कहा नारायण सेवा संस्थान दिव्यांगों को सशक्त ही नहीं कर रहा बल्कि उनके खोये हुए आत्मविश्वास और निराशा को दूर करने का काम कर रहा है। यह समाज के लिए उपयोगी कार्य है। प्रजा प्रभुत्व सेना के राकेश देशरला ने संस्थान के संस्थापक कैलाश मानव व अध्यक्ष प्रशांत अग्रवाल की वर्षों की सेवा साधना की प्रशंसा की। वहीं शिविर से लाभांवित होकर अपने पैरों पर चलते हुए नई जिंदगी शुरू करने वाले दिव्यांगजनों को शुभकामनाएं दी।
सभी अतिथियों ने विजिट किया, रोगियों से उनकी आप बीती सुनी और डॉक्टर से फिटमेंट की प्रक्रिया जानी। लाभांवित दिव्यांगों को ट्रेनिंग दी गई, बेटबोल और फुटबाल भी खेलें।
संस्थान अध्यक्ष प्रशांत अग्रवाल ने बेंगलूरु के 13 दानियों को सेवा अवार्ड से सम्मानित किया। जिसमें जनरल मोटर्स, भैरूमल भंडारी, डॉ सुधीर लोढ़ा, उदय सिंह तातेर, अशोक रांका, नितिन भट्ट और लायंस क्लब भी नाम उल्लेखनीय है। इससे पूर्व नारायण सेवा संस्थान बेंगलूरु शाखाध्यक्ष विनोद जैन ने मंचासीन अतिथियों का मेवाड़ी परम्परा से स्वागत किया। उन्होंने संस्थान की एक मुट्ठी आटे से अब तक की सेवाओं से रूबरू कराया। अध्यक्ष अग्रवाल ने कहा दिव्यांगजनों को उनके घरों के पास ही मदद पहुँचाने के लिए 2 फ़रवरी को यहां बेंगलूरु में कैंप लगाया गया था, जिसमें 1050 से ज्यादा रोगी आये उनमें से 694 दिव्यांगों को नारायण लिंब व केलिपर्स के लिए चयनित किया। जिन्हें आज नई जिंदगी का उपहार मिल रहा हैं। समारोह में कृत्रिम अंग पहनकर दिव्यांगों ने परेड की। दिव्यांगों को संस्थान डॉक्टर्स ने चलने की ट्रेनिंग देने के साथ लिम्ब के रखरखाव की जानकारी भी दी।
उन्होंने शिविर की रिपोर्ट बताते हुए कहा, यह तीसरा मौका है जब बेंगलूरु में संस्थान एक साथ बड़ी संख्या में दिव्यांगों को जर्मन टेक्नोलॉजी के नारायण लिम्ब पहनकर घरों को विदा हुए। जो वर्षों पहले किसी दुर्घटना में ये सभी अपने हाथ -पैर गंवाने से चलने फिरने में असमर्थ हो चुके थे जिसके चलते इनकी जिंदगी रुक सी गई थी। संस्थान के 80 लोगों की टीम ने सेवाएं दी।
निदेशक वंदना अग्रवाल ने अतिथियों का धन्यवाद अर्पित किया।