म्यांमार में भूकंप से मृतकों की संख्या बढ़कर हुई 3,645, भारत ने 'ऑपरेशन ब्रह्मा' के तहत मानवीय सहायता की तेज 

Death toll from Myanmar earthquake rises to 3645

Death toll from Myanmar earthquake rises to 3645

Death toll from Myanmar earthquake rises to 3645- यांगून। म्यांमार में 28 मार्च को आए 7.7 तीव्रता के विनाशकारी भूकंप में अब तक मरने वालों की संख्या बढ़कर 3,645 हो गई है, जबकि 5,017 लोग घायल हुए हैं और 148 लोग अब भी लापता हैं। यह जानकारी मंगलवार देर शाम राज्य प्रशासन परिषद की सूचना टीम ने दी।

देश के मौसम विज्ञान और जलवायु विभाग के अनुसार, भूकंप के बाद से अब तक 98 आफ्टरशॉक्स (भूकंप के झटके) दर्ज किए गए हैं, जिनकी तीव्रता 2.8 से लेकर 7.5 तक रही। इस भयानक आपदा के कारण सागाइंग, मांडले और मगवे जैसे प्रमुख क्षेत्रों में 80 प्रतिशत से अधिक इमारतें क्षतिग्रस्त हो गई हैं।

यूएनडीपी के क्षेत्रीय प्रतिनिधि टिटॉन मित्रा ने मांडले से बताया कि देश की स्वास्थ्य प्रणाली पूरी तरह से टूट चुकी है, अस्पतालों में मरीजों की भारी संख्या के कारण इलाज संभव नहीं हो पा रहा है। उन्होंने यह भी कहा कि दवाइयों और स्वास्थ्य सामग्री की भारी कमी है।

संयुक्त राष्ट्र के मानवीय मामलों के समन्वय कार्यालय (ओचीएचए) की रिपोर्ट के अनुसार, देशभर में 5 लाख से अधिक लोग बुनियादी स्वास्थ्य सेवाओं से वंचित हो गए हैं। टिटॉन मित्रा ने बताया कि सागाइंग और मगवे जैसे क्षेत्रों में बाजार पूरी तरह से बाधित हो चुके हैं, लोगों के पास आय का कोई साधन नहीं बचा है और अब महंगाई तेजी से बढ़ने के संकेत मिल रहे हैं।

उन्होंने कहा, "देश में चल रहे सक्रिय गृहयुद्ध के बीच यह ज़रूरी है कि राहत सामग्री उन क्षेत्रों तक भी पहुंचे जो प्रतिरोधी नियंत्रण में हैं, न कि सिर्फ सैन्य प्रशासन के क्षेत्रों तक।"

इस संकट के समय में भारत ने ‘पड़ोसी प्रथम’ और ‘एक्ट ईस्ट’ नीति के तहत ‘ऑपरेशन ब्रह्मा’ शुरू किया है और म्यांमार को मानवीय सहायता पहुंचाने वाले पहले देशों में शामिल हुआ है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इस भीषण आपदा पर गहरा शोक व्यक्त करते हुए म्यांमार के प्रधानमंत्री और स्टेट एडमिनिस्ट्रेशन काउंसिल के चेयरमैन सीनियर जनरल मिन आंग हलैंग से सीधा संवाद कर भारत की पूर्ण सहायता का भरोसा दिलाया।

4 अप्रैल को बैंकॉक में बिम्सटेक शिखर सम्मेलन के दौरान प्रधानमंत्री मोदी और मिन आंग हलैंग की मुलाकात हुई, जिसमें भूकंप के बाद की स्थिति और भारत की ओर से जारी राहत अभियान ‘ऑपरेशन ब्रह्मा’ पर चर्चा हुई।