साइबर क्राइम पुलिस ने साइबर फ्रॉड गिरोह का किया भंडाफोड़, 6 आरोपी सदस्य काबू

साइबर क्राइम पुलिस ने साइबर फ्रॉड गिरोह का किया भंडाफोड़, 6 आरोपी सदस्य काबू

Cyber ​​Crime Police Busted Cyber Fraud Gang

Cyber ​​Crime Police Busted Cyber Fraud Gang

पकड़े गए आरोपियो के कब्जे से सिम कार्ड वाले 17 मोबाइल फोन, 01 लैपटॉप, 02 जाली दस्तावेज, 02 चेक बुक बरामद।

रंजीत शम्मी चंडीगढ़। Cyber ​​Crime Police Busted Cyber Fraud Gang: यूटी पुलिस का थाना साइबर सैल लगातार हो रही ठगी,डिजिटल अरेस्ट और अन्य मामलो के आरोपियों की लगातार धरपकड़ कर रहा है। पुलिस ने एक बार फिर साइबर फ्रॉड मामले में 6 आरोपी सदस्य गिरोह का भंडाफोड़ कर उन्हें गिरफ्तार किया है। पकड़े गए आरोपियो की पहचान यूपी के जिला बुलंदशहर के रहने वाले 22 वर्षीय कुणाल कुमार, यूपी के जिला गाजियाबाद के रहने वाले 46 वर्षीय जीत सिंह, क्वालीफिकेशन ग्रेजुएट, दिल्ली निवासी 33 वर्षीय शान-ए आजम,34 वर्षीय शाह फैजल अंसारी क्वालीफिकेशन ग्रेजुएट,दिल्ली निवासी 23 वर्षीय हिमांशु कुमार,और 22 वर्षीय राहुल कुमार के रूप में हुई है। पकड़े गए आरोपियो के खिलाफ थाना साइबर सैल में धारा 319(2), 318(4), 338, 336(3), 340(2), 61(2) के तहत 28। मार्च 2025 को मामला दर्ज है।

जांच और गिरफ्तारियाँ:

जानकारी के मुताबिक  चंडीगढ़ पुलिस के आला अधिकारियों के दिशा निर्देशों के चलते डीएसपी साइबर सैल ए वेंकटेश की सुपरविजन में एक टीम का गठन किया गया था। टीम ने तकनीकी सहायता की मदद से दिल्ली और गाजियाबाद (यू.पी.) में छापेमारी की गई। जिसके परिणामस्वरूप छह आरोपियों को गिरफ्तार किया गया। पूछताछ के दौरान पता चला कि आरोपी शान-ए-आजम के खिलाफ नोएडा में फर्जी कॉल सेंटर चलाने का एक आपराधिक मामला पहले भी दर्ज किया जा चुका है। इस संबंध में आगे की जांच जारी है।

Cyber ​​Crime Police Busted Cyber Fraud Gang

कार्यप्रणाली:

आरोपी ने फेसबुक और अन्य सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर एयरलाइंस,शॉपिंग मॉल,वाहन ऋण, स्वास्थ्य बीमा आदि में नौकरियों से संबंधित फर्जी विज्ञापन पोस्ट किए।पीड़ितों ने इन विज्ञापनों को देखा और बताए गए मोबाइल नंबरों पर संपर्क किया। आरोपियों ने पंजीकरण, सत्यापन, बीमा और नौकरी से संबंधित अन्य औपचारिकताओं के बहाने पीड़ितों को विभिन्न बैंक खातों में पैसे ट्रांसफर करने का लालच दिया।
बरामदगी की गई।
पुलिस के मुताबिक पकड़े गए आरोपियो के कब्जे से सक्रिय सिम कार्ड वाले 17 मोबाइल फोन, 01 लैपटॉप, 02 जाली दस्तावेज, 02 चेक बुक

जनता के लिए सलाह:

ऑनलाइन नौकरी या ऋण विज्ञापनों में इस्तेमाल किए गए फ़ोन नंबर, लिंक और खाता विवरण वेरिफाई करें।बड़े बैंक लेनदेन करने से पहले दोबारा जाँच करें। ऐसी जानकारी परिवार, दोस्तों और सहकर्मियों के साथ साझा करें। सीबीआई, ईडी, मुंबई पुलिस या किसी अन्य कानून प्रवर्तन एजेंसी से होने का दावा करने वाले लोगों से गुमनाम कॉल/संदेश न लें।अपने सिम कार्ड या बैंक खातों का इस्तेमाल दूसरों को धोखाधड़ी गतिविधियों के लिए न करने दें।

क्या था मामला

चंडीगढ़  निवासी रायज कुमार ने पुलिस को बताया था कि  23 सितंबर 2024 को उन्हें एक एयरलाइंस में नौकरी के लिए कॉल आया।उसके बाद ऑनलाइन इंटरव्यू हुआ और ऑफर लेटर मिला। उनसे कई तरह के शुल्क देने को कहा गया- एक हजार 399 (पंजीकरण), 3,999 (सुरक्षा), 20,550 (बीमा), 10,000 (खाता खोलना), 9,269 (कर), और 95,500 (केबिन और फ्लैट का किराया) - ये सभी यूपीआई के ज़रिए भुगतान किए गए। साथ ही ज्वाइन करने के बाद पैसे वापस करने का वादा किया गया। जब कुछ दिन बाद संपर्क किया तो अज्ञात आरोपियों ने संपर्क करना बंद कर दिया।तो बाद में पीड़ित को पता चला एहसास हुआ कि उनके साथ ठगी हो गई है। मामले की शिकायत पुलिस को दी गई थी। पुलिस ने मामले में कारवाई करते हुए अज्ञात आरोपियों के खिलाफ मामला दर्ज कर लिया था।