मुख्यमंत्री विफल दिल्ली मॉडल की वकालत करना छोड़ें: सरदार सुखबीर सिंह बादल
मुख्यमंत्री विफल दिल्ली मॉडल की वकालत करना छोड़ें: सरदार सुखबीर सिंह बादल
कहा कि शिक्षा क्षेत्र में लगातार तीसरे सर्वेक्षण ने पंजाब के स्कूलों को दिल्ली के उन स्कूलों की तुलना में बेहतर स्थान दिया , जिनकी मुख्यमंत्री द्वारा हिमायत की जा रही
कहा कि आप पार्टी के आलाकमान ईस्ट इंडिया कंपनी की तरह बर्ताव कर रहे, हिमाचल और गुजरात में चुनावों के लिए पंजाब को लूटा जा रहा
Advocate Failed Delhi : संगरूर /08सितंबर: शिरोमणी अकाली दल के अध्यक्ष सरदार सुखबीर सिंह बादल ने मुख्यमंत्री भगवंत मान से विफल दिल्ली मॉडल की वकालत करना छोड़ दें क्योंकि स्कूली शिक्षा में दिल्ली मॉडल पूरी तरह से नाकाम है । उन्होने कहा कि शिक्षा तथा स्वास्थ्य क्षेत्र पंजाब के लोगों की जरूरतों के आधार पर चलाया जाना चाहिए न कि जैसे कि फर्जी आधार पर प्रचार करके जैसे कि आप पार्टी द्वारा पेड न्यूज द्वारा प्रचार किया जा रहा है।
वरिष्ठ अकालियों के आवासों का दौरा करने के अलावा कई सार्वजनिक कार्यकमों में भाग लेने के बाद पत्रकारों से बातचीत करते हुए अकाली दल अध्यक्ष ने कहा कि विंडबना है कि मुख्यमंत्री भगवंत मान पंजाब में स्कूली शिक्षा के दिल्ली मॉडल की हिमायत करते रहे, जबकि पंजाब में स्कूली शिक्षा की गुणवत्ता को बार बार राष्ट्रीय सर्वेक्षणों में दिल्ली से बेहतर स्थान दिया गया है। उन्होने कहा कि फांउडेशन लर्निंग स्टडी, 2022 की नवीनतम रिपोर्ट से पता चलता है कि पंजाब के स्कलों के कक्षा तीन के छात्रों में दिल्ली में अपने समकक्षों की तुलना में बुनियादी ज्ञान और कौशल बहुत ज्यादा है। उन्होने कहा, ‘‘ इससे पहले नेशनल अचीवमेंट सर्वे और परमॉफेंस ग्रेडिंग इंडेक्स सर्वे और परमॉर्मेंस ग्रेडिंग इंडेक्स सर्वे सहित दो बार दोहराए गए सर्वेक्षणों ने भी पंजाब के स्कूलों को दिल्ली के स्कूलों से उपर स्थान दिया गया था। मुख्यमंत्री को तुरंत दिल्ली की स्कूल प्रणाली की वकालत करना बंद कर देना चाहिए’’।
यह कहते हुए कि दिल्ली मॉडल राज्य को मंहगा पड़ रहा है सरदार सुखबीर सिंह बादल ने कहा कि ‘‘ पंजाब के वित्तमंत्री ने हाल ही में खुलासा किया है कि पिछले पंाच महीनों के दौरान राज्य के राजस्व में उत्पाद शुल्क में 47 फीसदी की बढ़ोतरी और जीएसटी संग्रह में 24 फीसदी की बढ़ोतरी दर्ज की गई , लेकिन सरकार मासिक वेतन का भुगतान करने में असमर्थ रही है। यहां तक कि कर्मचारियों को वेतन देने के लिए राज्य के इतिहास में पहली बार आरबीआई की गारंटी का भी सहारा लिया गया है’’।
सरदार बादल ने कहा कि यह सब इसीलिए हो रहा है क्योंकि आप पार्टी के आलाकमान ईस्ट इंडिया कंपनी की तरह बर्ताव कर रही है। सरदार बादल ने कहा, ‘‘ हिमाचल प्रदेश और गुजरात में चुनावों में लिए धन जुटाने के लिए पंजाब को लूटा जा रहा है। देश भर में विशेष रूप से चुनावी विज्ञापनों और पेड न्यूज पर लगभग 100 करोड़ रूपये खर्च किए गए हैं। उन्होने कहा कि चालू वित्त वर्ष के बजट में सिर्फ प्रचार के लिए 700 करोड़ निर्धारित किए गए हैं। उन्होने कहा कि यही कारण है कि विकास नही हो रहा है और वेतन देने के लिए भी धन उपलब्ध नही है’’।
अकाली दल अध्यक्ष ने कहा कि मुख्यमंत्री कहा करते थे कि उनकी सरकार गांवों में ही रहेगी। ‘‘ गांवों को तो भूल ही जाइए , चंडीगढ़ में भी सरकार मौजूद नही है’’। उन्होने कहा कि गांवों में लोगों को आटा-दाल योजना, शगुन योजना और बुढ़ापा पेंशन योजना जैसे सामाजिक भलाई उपायों को भी लाभ नही मिल पा रहा है।
मुख्यमंत्री की मां और पत्नी द्वारा संवैधानिक भूमिकाएं निभाने के बारे एक सवाल का जवाब देते हुए सरदार बादल ने कहा, ‘‘ यह गलत है। संवैधानिक पदों का सम्मान किया जाना चाहिए और उन्हे कोई भी हड़प नही सकता। अगर ऐसा ही चलता रहा तो पूरे राज्य में अराजकता फैल जाएगी।
सरदार बादल ने पंजाबियों को आश्वासन दिया कि अकाली दल आप पार्टी और उसके संयोजक अरविंद केजरीवाल को राज्य के नदी जल को लूटने की अनुमति नही देगी। उन्होने कहा, ‘‘ हम आप पार्टी की साजिश को अपनी नदियों का पानी हरियाणा को सौंपने की साजिश को कभी सफल नही होने देंगें और इसे इसके लिए अकाली दल कोई भी बलिदान देने के लिए तैयार है’’ इस अवसर पर बलदेव सिंह मान , गोबिंद सिंह लोंगोंवाल, इकबाल सिंह झूंदा और गुलजार सिंह मूणक सहित वरिष्ठ नेता इस अवसर पर उपस्थित थे।